राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (NHM) संविदा कर्मचारी 18 अगस्त से हड़ताल पर हैं, स्वास्थ्य कर्मियों द्वारा अपनी 10 सूत्रीय मांगों को लेकर अलग-अलग तरीके से प्रदर्शन किया जा रहा है, नारायणपुर के स्वास्थ्य कर्मियों ने नरेंद्र मोदी और अन्य मंत्रियों का मुखौटा पहनकर प्रदर्शन किया। इसके चलते स्वास्थ्य सेवाएं ठप हो गयी है, प्रशासन ने 24 घंटे के भीतर स्वास्थ्य कर्मियों को अपने कार्यो में वापस लौटने का आदेश दिया है।
अलग अलग रूपों में विरोध प्रदर्शन
स्वास्थ्य कर्मियों के द्वारा 10 सूत्रीय मांगों को लेकर प्रदेश भर में प्रदर्शन किया जा रहा है, कर्मचारियों के द्वारा फिल्मों के गानों पर डांस कर विरोध प्रदर्शन किया जा रहा है, जिसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है, वही खून से प्रशासन को पत्र लिखा गया है, कर्मचारियों ने अपना मुंडन भी कराया।
कर्मचारियों द्वारा प्रदर्शन की नौबत क्यो
सरकार द्वारा चुनावी घोषणा पत्र में संविदा कर्मचारियों को 100 दिनों के भीतर नियमित करने का वादा किया गया था, लेकिन 160 से अधिक ज्ञापन देने के बाद भी इस दिशा में कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई। इसके अलावा, वे नियमितीकरण, लंबित महंगाई भत्ता, और अन्य लाभों की मांग कर रहे हैं। जब सरकार ने उनकी मांगों को पूरा नहीं किया, तो कर्मचारियों ने चरणबद्ध आंदोलन शुरू किया।
स्वास्थ्य सेवाओं पर गहरा असर
स्वास्थ्य कर्मियों के हड़ताल से शासकीय अस्पतालों में सेवाओं पर गहरा असर देखा जा रहा हैं,
मरीजों और परिजनों को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा हैं। ओपीडी, संस्थागत प्रसव, पैथोलॉजी लैब, नवजात शिशु देखभाल, वृद्ध स्वास्थ्य परीक्षण, पोषण पुनर्वास केंद्र जैसी सेवाएं पूरी तरह ठप हैं।
नियमित कर्मचारियों की छुट्टियाँ रद्द
हड़ताल के दौरान रात्रिकालीन में आने वाले गंभीर मरीजों की मुश्किलें बढ़ गयी है, स्थिति को देखते हुए प्रशासन ने नियमित कर्मचारियों की छुट्टी रद्द कर दी गयी है और तुरंत ही आपने कार्यो में आने का आदेश जारी किया गया है।
मंत्रियों द्वारा कर्मचारियों को आश्वासन
प्रदर्शन से स्वास्थ्य सेवाओं पर असर होने से मंत्रियों ने कर्मचारियों को आश्वासन पत्र दिया है, जिसमें 10 में से 5 मांगो को पूरी करना वही और 5 मांगो के लिए केंद्र सरकार से सिफारिश की बात कही गयी है।
वही प्रशासन ने हड़ताल में बैठे सभी स्वास्थ्य कर्मियों को 24 घंटे के अंदर अपने-अपने कार्यो पर लौटने का आदेश दिया गया है, प्रशासन के द्वारा आदेश का अवहेलना करने पर कर्मचारियों को बर्खास्त करने की चेतावनी दी गयी है।

